“योगी राइटर” (Yogi Writer) में योगेंद्र नाथ “योगी” द्वारा स्वरचित रचनाओं का समावेश है इसमें तरह-तरह के भाव एवं विचारों को कविताओं के माध्यम से व्यक्त किया गया है। जिसके अंतर्गत भक्ति ,प्रकृति, प्रेम,करुणा,देश प्रेम, रिश्तें , सामाजिक रचनाएं आदि के विचारों को एक कविता के रूप में सरलता से प्रस्तुत किया गया है।योगेंद्र नाथ “योगी” द्वारा प्रथम संस्करण “काव्य योगी” के पश्चात अन्य संस्करण भी काव्य संग्रह के प्रस्तुत किए जा रहे हैं तथा जल्द ही उपन्यास एवं कहानियों की पुस्तकें भी प्रस्तुत की जाएंगी। योगेंद्र नाथ “योगी” एक कवि, लेखक एवं अधिवक्ता के तौर पर पहचाने जाते हैं। “योगी राइटर” (Yogi Writer) के द्वारा समस्त पुस्तकों को स्व प्रकाशन के माध्यम से योगेंद्र नाथ “योगी” द्वारा प्रकाशित किया जा रहा है जिसमें आपके अपार प्रेम और स्नेह के लिए प्रणाम है इसी तरह अपना प्रेम बनाए रखें।
                                                                                              धन्यवाद

अभी पढ़ना शुरू करें

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

काव्य योगी

"काव्य योगी" - कविता का दिल

“काव्य योगी” प्रथम संस्करण एक विशेष अनुभूति को संजोए हुए काव्य संग्रह है। यह पुस्तक मेरे लेखन के पहले प्रयास को दर्शाती है, जिसमें कच्चे और पक्के शब्दों की माला को सजाकर प्रस्तुत किया गया है।
चूंकि यह प्रथम संस्करण है, यह पुस्तक मेरे हृदय के बहुत करीब है और इसमें सुंदर विचारों का संग्रह है, जो आपके समक्ष पेश किया गया है। कृपया इसे पढ़ें और नए अनुभवों के साथ “काव्य योगी” का आनंद लें।

विशेष रूप से प्रदर्शित

अभी पढ़ना शुरू करें

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

अभी पढ़ना शुरू करें

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

पुष्प सरोवर

"पुष्प सरोवर" - भावनाओं का गुलदस्ता

“पुष्प सरोवर” एक ऐसा काव्य संग्रह है, जो पुष्पों की तरह जीवन में सुगंध बिखेरता है। यह पुस्तक हर पन्ने पर ऐसी भावनाओं और विचारों का समावेश करती है, जो आपके दिल के करीब हैं। इसे पढ़ते हुए आपको ऐसा महसूस होगा जैसे यह आपके अपने जीवन की कहानी है। “पुष्प सरोवर” को अवश्य पढ़ें और इस सुगंधित काव्य यात्रा का हिस्सा बनें।धन्यवाद

विशेष रूप से प्रदर्शित

अभी पढ़ना शुरू करें

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

अभी पढ़ना शुरू करें

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

प्रेम धरोहर

"प्रेम धरोहर" - भावनाओं की यात्रा

“प्रेम धरोहर” एक ऐसा सुंदर काव्य संग्रह है, जिसे प्रेम के विभिन्न रूपों में संजोया और संवारा गया है। यह पुस्तक प्रेम की गहराइयों में डुबकी लगाते हुए उसके विविध पहलुओं का अनुभव कराती है। हर कविता में प्रेम की अनमोल धरोहर को जीवंत किया गया है, जो दिल को छू लेने वाली है। “प्रेम धरोहर” को अवश्य पढ़ें और इस प्रेममयी यात्रा का आनंद लें।धन्यवाद

विशेष रूप से प्रदर्शित

अभी पढ़ना शुरू करें

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

अभी पढ़ना शुरू करें

ई-बुक में उपलब्ध

अमृत मंत्रा

"अमृत मंत्रा" एक अनमोल काव्य संग्रह

अमृत मंत्रा” एक ऐसा अनमोल काव्य संग्रह है, जो जीवन के उतार-चढ़ाव, भावनाओं, और विचारों को अमृत की तरह शुद्ध और मधुर रूप में प्रस्तुत करता है। इस पुस्तक में सरल शब्दों के माध्यम से गहरे अर्थ व्यक्त किए गए हैं, जो पाठकों को आत्मा तक छू जाते हैं। “अमृत मंत्रा” को पढ़ने के बाद आप एक अद्वितीय और विशेष अनुभूति का अनुभव करेंगे, जिसे आप लंबे समय तक संजो कर रखेंगे। इसे आज ही मँगवाएँ और इस अद्भुत यात्रा का हिस्सा बनें।धन्यवाद

विशेष रूप से प्रदर्शित

अभी पढ़ना शुरू करें

ई-बुक में उपलब्ध

अभी पढ़ना शुरू करें

ई-बुक में उपलब्ध

पुरानी कलम

"पुरानी कलम" - अभिव्यक्ति की शुरुआत

“पुरानी कलम” नाम से ही यह काव्य संग्रह आपके समक्ष प्रस्तुत किया जा रहा है, जो मेरे लेखन के सफर की शुरुआत को दर्शाता है। इस संग्रह में आपको जीवन के प्रारंभिक अनुभवों से उपजी कविताएँ मिलेंगी, जिनमें कुछ विचार अपरिपक्व हो सकते हैं, लेकिन यही शब्द मेरे पहले कदमों की कहानी को बयां करते हैं।
“पुरानी कलम” एक ऐसे कालखंड की संगीनी है जहाँ नए विचार और भावनाएँ आकार ले रही थीं। यह पुस्तक मेरे साहित्यिक यात्रा की शुरुआत को समर्पित है। कृपया इसे पढ़ें और अपने स्नेह के साथ मुझे समर्थन दें।

विशेष रूप से प्रदर्शित

अभी पढ़ना शुरू करें

ई-बुक में उपलब्ध

आपके समक्ष जल्द प्रस्तुत होगी

पेपर बैग एवं ई बुक में उपलब्ध होगी

अंगदान

"अंगदान"- मानवता की पहल

“अंगदान” – मानवता की पहल पुस्तक अंगदान के महत्व को स्पष्ट रूप से समझाती है। यह पुस्तक बताती है कि कैसे अंगदान से किसी के जीवन को बचाया जा सकता है और समाज में सकारात्मक बदलाव लाएं जा सकते हैं। इसमें अंग दान की प्रक्रिया, इसके लाभ और इसके सामाजिक प्रभाव को सरल भाषा में प्रस्तुत किया गया है। यह पुस्तक हमें प्रेरित करती है कि हम इस महान कार्य में भाग लेकर मानवता की सेवा करें

विशेष रूप से प्रदर्शित

आपके समक्ष जल्द प्रस्तुत होगी

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

Will be presented to you soon

Will be available in paper bags and e -books

Organ Donation

"Organ Donation": A Humanity Initiative

The book *”Organ Donation”: A Humanity Initiative
clearly explains the importance of organ donation. It highlights how organ donation can save lives and bring positive change to society. The book presents the organ donation process, its benefits, and its social impact in simple language. It inspires readers to participate in this noble cause and serve humanity.

विशेष रूप से प्रदर्शित

Will be presented to you soon

Will be available in paper bags and e -books

आपके समक्ष जल्द प्रस्तुत होगी

पेपर बैग एवं ई बुक में उपलब्ध होगी

डगर

"डगर" जीवन की राहों पर

यह पुस्तक “डगर” जीवन की यात्रा का प्रतीक है, जिसमें विभिन्न मोड़, उतार-चढ़ाव, जीत, हार, प्रेम, दुःख, और संघर्ष शामिल हैं। यह शीर्षक साधारण राहों में छिपी असाधारणता को दर्शाता है, जहां हर अनुभव व्यक्ति को कुछ सिखाता है। “डगर” जीवन की चुनौतियों को पार करने की प्रेरणा देती है और पाठकों को अपनी जड़ों और परंपराओं से जोड़ते हुए अनिश्चितता में साहस का संदेश देती है।

विशेष रूप से प्रदर्शित

आपके समक्ष जल्द प्रस्तुत होगी

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

Will be presented to you soon

Will be available in paper bags and e -books

THE TRAIL

THE TRAIL OF MY JOURNEY : A Story

The book “THE TRAIL OF MY JOURNEY : A Story” symbolizes the journey of life, encompassing various twists, ups and downs, victories, defeats, love, sorrow, and struggles. This title reflects the extraordinariness hidden in ordinary paths, where every experience teaches something. “Dagar” inspires overcoming life’s challenges and conveys a message of courage in uncertainty while connecting readers to their roots and traditions.

विशेष रूप से प्रदर्शित

Will be presented to you soon

Will be available in paper bags and e -books

आपके समक्ष जल्द प्रस्तुत होगी

पेपर बैग एवं ई बुक में उपलब्ध होगी

अनमोल डगर

"अनमोल डगर": एक जीवन यात्रा

जीवन की उन विशेष राहों की कहानी है, जो अनमोल अनुभवों से भरी हुई हैं। यह शीर्षक जीवन के अद्वितीय क्षणों, कीमती सीखों और अटूट संघर्षों का प्रतीक है। “अनमोल डगर” में साधारण यात्रा के असाधारण पहलुओं को उजागर किया गया है, जो जीवन को नई दिशा और मूल्य प्रदान करते हैं। यह पुस्तक पाठकों को जीवन के अनमोल रास्तों पर चलने की प्रेरणा देती है, जहां हर मोड़ पर एक नई सीख और अनुभव मिलता है।

विशेष रूप से प्रदर्शित

आपके समक्ष जल्द प्रस्तुत होगी

पेपर बैग और ई-बुक में उपलब्ध

Will be presented to you soon

Will be available in paper bags and e -books

THE PRICELESS TRAIL

THE PRICELESS TRAIL: A JOURNEY OF LIFE (A Story)

The story of those special paths in life is filled with invaluable experiences. This title symbolizes life’s unique moments, precious lessons, and unwavering struggles. “THE PRICELESS TRAIL: A JOURNEY OF LIFE” highlights the extraordinary aspects of an ordinary journey, providing life with new direction and value. This book inspires readers to walk on life’s precious paths, where every turn brings a new lesson and experience.

विशेष रूप से प्रदर्शित

Will be presented to you soon

Will be available in paper bags and e -books

लेखक के वीडियो

गैलरी

लेखक के विचार

योगेंद्र नाथ "योगी"

प्रिय पाठक,
मैं आपका योगेंद्र नाथ “योगी” आपके अपार प्रेम के लिए आपको हृदय से प्रणाम करता हूं। जैसा कि आप जानते हैं कि मैं एक अधिवक्ता के तौर पर कार्यरत हूं तथा ईश्वर के द्वारा तोहफे में दी गई कलम का उपयोग करते हुए अपने शब्दों को कविताओं के रूप में आपके समक्ष प्रस्तुत करने में सफल रहा हूं। मेरे विचारों के भावसागर में जीवन के अलग-अलग रूपों को अपनी कलम के माध्यम से आप तक पहुंचा पाया हूं। मेरी रचनाओं में प्रकृति की सुंदरता को वर्णित किया गया है, देश प्रेम की अनुभूति को व्यक्त किया गया है, प्रेम की अपार गहराई को शब्दों में ढाला गया है, प्रेम में टूटे हुए हृदय की वेदना को प्रस्तुत किया गया है, बनते बिगड़ते टूटते संवारते प्यारे रिश्तों को दर्शाया गया है, समाज की अच्छी बुरी बुनियादों को व्यक्त किया गया है, तथा विशेष अनुभूतियों को शब्दों में रंगने का प्रयास किया गया है।आप जैसे प्रिय पाठक मेरे विचारों को पढ़कर मेरे आत्मविश्वास को बढ़ावा देते हैं हिम्मत और साहस ,मुझे आप लोगों से प्राप्त होता है। आपका साथ आपका विश्वास आपका प्रेम मुझे भाग्यशाली बनता है। मेरा यह सौभाग्य है कि आप मेरी पुस्तकों को इतना पसंद करते हैं मैं कोई विशिष्ट कवि या लेखक नहीं हूं हिंदी भाषा का सरलता से उपयोग करते हुए अपने भाव प्रकट कर पाता हूं। जितनी भी भावनाएं एवं विचारों का संग्रह मेरे मन मस्तिष्क में अवतरित होते हैं वह समस्त उस ईश्वर की कृपा है उनकी कृपा के बिना मैं कुछ भी नहीं हूं। मेरे लिए सब कुछ वही ईश्वर है। आपके भीतर बैठे उस ईश्वर को प्रणाम करते हुए अपनी समस्त पुस्तकें आपके समक्ष प्रस्तुत करता हूं कुछ गलतियां हो सकती है कुछ त्रुटि हो सकती है इसके लिए मैं क्षमा प्रार्थी हूं। जाने पहचाने विचारों को संग्रहित करके कविताओं के रूप में प्रस्तुत करता हूं।। मैं योगेंद्र नाथ “योगी” अपने “योगी लेखक” स्व- प्रकाशन के द्वारा अपनी संग्रहित रचनाओं को पुस्तकों का रूप देकर पेपर बैग एवं ई-बुक के तौर पर प्रकाशित कर रहा हूं। आशा करता हूं कि अपना प्रेम एवं स्नेह मुझ पर बनाएं रखेंगे।
आपके प्रेम और समर्थन के लिए धन्यवाद।

सादर,
योगेंद्र नाथ “योगी

समीक्षा

विशालकुमार “ विशाल ”

एडवोकेट शायर एवं कवि

प्रतापगढ़ राजस्थान

मेरे अधिवक्ता भाई एवं कवि योगेन्द्र नाथ ” योगी ” से जब भी बात होती एक लम्बे अंतराल के बाद ही होती है। ऐसी एक सुबह कोर्ट जाने कि तैयारी में बैठा था कि मोबाइल पर मित्र योगी जी का कॉल आया और फिर हमें “प्रेम धरोहर” पुस्तक पर चर्चा में वक्त का पता ही नही चला।

“ काव्य योगी ” के योगी का पाठक जहां प्रकृति के सामीप्य को प्राप्त करता है वहीं प्रेम का प्रवाह और तीव्रता के साथ किन्तु उतनी ही कोमलता लिए हमें प्रेम भाव से ओतप्रोत करने को आतुर हुआ जाता है प्रेम का भाव हम सबमें समान रूप से प्रवाहित है किंतु इस चराचर जगत में रहते हुए भी प्रेम प्रवाह में स्वयं भीगते हुए अनंत प्रेम भाव को रचनाओं के माध्यम से प्रसारित करने का कार्य विरले ही करते हैं।
दैनिक जीवन एवं जीवन जीने के पथ कि समस्त बाधाओं आसानियों , सीधे घुमावदार रास्तों , संकीर्ण गलियों को अपनी रचनाओं में इस खूबसूरती से बयां करना के पढ़ने सुनने वाले स्वयं में प्रवाहित प्रेम के प्रवाह कि अनुभूति कर ले । निःसंदेह धरोहरें मूल्यवान होती है जिनका संरक्षण संवर्धन करना जरूरी होता है लेकिन मानव शारीरिक परिश्रम को आसान करने कि जिद्द में उन्नत वैज्ञानिक आविष्कार तो कर रहा है लेकिन हम ज्यों ज्यों आधुनिक हुए जा रहें उतने ही हम हमारे मानवीय मूल्यों से दूर बहुत दूर होते जा रहे हैं।
इस तरह अनुभव , अनुभूतियों , हृदय के भाव से दूर जाता देख योगेन्द्र नाथ “ योगी ” कि रचनाएं हमें आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेम कि धरोहर को बचाने के लिए प्रेरित करती जिससे हम आने वाली पीढ़ियों को मजबूत सामाजिक परिवेश, शुद्ध प्राकृतिक वातावरण एवं प्राकृतिक सम्पदा, विशाल जंगल और वन्यजीव के प्रति भी आपसी प्रेम का भाव दे सके और प्रेम के वास्तविक स्वरूप से परिचय करने के लिए मानव पीढियां को कहीं भटकना ना पड़े ।
वर्तमान दौर में प्रेम भाव कि नितांत आवश्यकता प्रतीत होती है और अच्छे साहित्य ने हमेशा मानव सभ्यता का मार्गदर्शन किया है आज के दौर में प्रेम कि धरोहर को आने वाली पीढ़ियों तक पहुंचाने का दायित्व हम सभी का है और प्रेम धरोहर में संकलित रचनाएं निःसंदेह आने वाली पीढ़ियों का पथप्रदर्शन करेगी। मैं “प्रेम धरोहर” के निर्बाध प्रवाह कि मंगल कामनाएं करने के साथ ही प्रिय मित्र योगेन्द्र नाथ “ योगी ” कि साहित्य सेवा और सकारात्मक संदेश को प्रसारित करने का उद्देश्य हमेशा सफलता प्राप्त करें एवं काव्य शिल्पी के रुप में आपकी रचनाएं सदैव पाठकों का मार्गदर्शन करती रहे । ढ़ेरों शुभ व मंगल कामनाओं के साथ “प्रेम धरोहर” काव्य पुस्तक के लिए बधाई।

सुधा त्रिपाठी

वड़ोदरा गुजरात

‘योगेंद्र नाथ योगी’ एक ऐसा नाम जो सोशल मीडिया में उत्कृष्ट लेखन के लिये जाना जाते है, मैंने जहाँ तक आपको आपकी रचनाओं के अवलोकन से जाना है मैं निःसंदेह तौर पर कह सकती हूँ कि आज के भटकते दौर में आपकी रचनाएँ आँधियों में जलते चिराग़ की तरह हैं, हर विषय में आपका लेखन कमाल का है,

आपकी प्रत्येक रचना एक विशेष संदर्भ और सार लिये होती है, यूँ तो आजकल चंद कलाम लिखकर कोई भी ख़ुद को कवि के रूप में प्रख्यात कर रहा है किन्तु वास्तविक कवि लेखक या काव्यकार की पहचान उसकी बोलती रचनाएँ ही हुआ करती हैं जो स्वयं कवि का मूल परिचय देती हैं, ऐसे ही रचनाओं से स्वयं को प्रकाशवान करने वाले ओजस्वी कवि हैं योगेंद्र जी।
योगेंद्र जी की रचनाओं की तरह ही इनका व्यक्तित्व भी अनुकरणीय है इन्होंने सम्पूर्ण अंगदान किया है जो हमारे लिए गौरव की बात है अप्रतिम रचनाओं का यह संग्रह “अमृत मंत्रा” तथा अन्य संस्करणों में “काव्य योगी” “पुष्प सरोवर”, ”प्रेम धरोहर” , तथा “पुरानी कलम” है। साहित्य जगत में अपना उच्च स्थान प्राप्त करे और आपकी कलम यूँ ही सामाजिक उत्थान के लिये लिखती रहे इन्ही शुभकामनाओं के साथ बहुत बहुत बधाइयाँ..
‘योगेंद्र नाथ योगी’ एक ऐसा नाम जो सोशल मीडिया में उत्कृष्ट लेखन के लिये जाना जाते है, मैंने जहाँ तक आपको आपकी रचनाओं के अवलोकन से जाना है मैं निःसंदेह तौर पर कह सकती हूँ कि आज के भटकते दौर में आपकी रचनाएँ आँधियों में जलते चिराग़ की तरह हैं, हर विषय में आपका लेखन कमाल का है, आपकी प्रत्येक रचना एक विशेष संदर्भ और सार लिये होती है, यूँ तो आजकल चंद कलाम लिखकर कोई भी ख़ुद को कवि के रूप में प्रख्यात कर रहा है किन्तु वास्तविक कवि लेखक या काव्यकार की पहचान उसकी बोलती रचनाएँ ही हुआ करती हैं जो स्वयं कवि का मूल परिचय देती हैं, ऐसे ही रचनाओं से स्वयं को प्रकाशवान करने वाले ओजस्वी कवि हैं योगेंद्र जी।
योगेंद्र जी की रचनाओं की तरह ही इनका व्यक्तित्व भी अनुकरणीय है इन्होंने सम्पूर्ण अंगदान किया है जो हमारे लिए गौरव की बात है अप्रतिम रचनाओं का यह संग्रह “अमृत मंत्रा” तथा अन्य संस्करणों में “काव्य योगी” “पुष्प सरोवर”, ”प्रेम धरोहर” , तथा “पुरानी कलम” है। साहित्य जगत में अपना उच्च स्थान प्राप्त करे और आपकी कलम यूँ ही सामाजिक उत्थान के लिये लिखती रहे इन्ही शुभकामनाओं के साथ बहुत बहुत बधाइयाँ..

साक्षी ढींगरा

मुंबई ,महाराष्ट्

योगेंद्र नाथ “योगी” बहुत ही अच्छे लेखक ही नहीं बल्कि एक अच्छे व्यक्तित्व के मालिक हैं।
कलम से जादू चलाना क्या होता है कोई आपसे सीखे। इनकी रचनाएं दिल को छू जाने लेने वाली होती है ‘अंगदान’ का क्या महत्व है 

मैंने योगेंद्र नाथ “योगी” जी से ही सीखा हैं। सामाजिक कार्यों में भी इनकी रुचि एक विशेष स्थान रखती है जीवन के प्रति आपका पॉजिटिव सकारात्मक एटीट्यूड आपकी रचनाओं में भी प्रदर्शित होती है।
“योगी” जी आध्यात्मिक और सरल स्वभाव के हैं इनकी अभी तक तीन पुस्तकें अभी तक प्रस्तुत हो चुकी है सुन्दर रचनाओं का यह संग्रह “अमृत मंत्रा” तथा अन्य संस्करणों में “काव्य योगी” “पुष्प सरोवर”, ”प्रेम धरोहर” , तथा “पुरानी कलम” है।
जिनको पढ़ने से ही पता चलता है कि आपको परमात्मा ने कितनी अच्छी लिखने की कला से नवाजा है। बहुत-बहुत शुभकामनाएं आपके लिए आने वाली पुस्तकों के लिए।

हेमराज राजपूत

कर अधिवक्ता परासिया छिंदवाड़ा म.प्र.

मेरे कॉलेज के मित्र, योगेन्द्र नाथ योगी जी एक संवेदनशील कवि हैं, जिनकी कविताएँ जीवन के विविध रंगों और भावनाओं को बखूबी प्रस्तुत करती हैं। उनकी कविताओं में प्रकृति, देश प्रेम, प्रेम, उदासी, सामाजिक मुद्दे, और रिश्ते-नाते जैसे विषयों की गहरी छानबीन मिलती है,

 जो उनके लेखन को विशेष और प्रभावशाली बनाती है। योगेन्द्र नाथ योगी जी की कविताओं में प्रकृति की छवियाँ अद्वितीय हैं। उनकी कविताएँ हर मौसम की नाजुकता और पेड़-पौधों की मनमोहकता को चित्रित करती हैं। उनकी लेखनी हमें प्रकृति के साथ एक विशेष जुड़ाव का अनुभव कराती है, जैसे कि हम स्वयं उसके दिल की धड़कन सुन पा रहे हों।
उनकी कविताएँ देश प्रेम के गहरे भावनात्मक स्तर को छूती हैं। वह अपने शब्दों में देश की संस्कृति, इतिहास, और वर्तमान स्थिति को एक नई दृष्टि से प्रस्तुत करते हैं ।प्रेम की उनकी कविताएँ दिल की गहराईयों से निकलती हैं। वह प्रेम के हर पहलू—चाहे वह मिलन हो, दूरियाँ हों, या अपेक्षाएँ—को इतनी सूक्ष्मता से व्यक्त करते हैं सामाजिक असमानताओं और अन्याय पर उनकी कविताएँ एक सशक्त आवाज़ की तरह काम करती हैं। जो सामाजिक जागरूकता को बढ़ावा देती हैं। प्रेरणादायक कविताएँ धैर्य रखने और संघर्ष करने की प्रेरणा देती हैं। वे बताती हैं कि सफलता की यात्रा में कठिनाइयाँ आ सकती हैं,अक्सर आत्मविश्वास और सकारात्मक दृष्टिकोण को बढ़ावा देती हैं। वे हमें चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों का सामना करने और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए प्रेरित करती हैं। ये कविताएँ हमें हमारे सपनों और आकांक्षाओं की ओर कदम बढ़ाने की प्रेरणा देती हैं, और विश्वास दिलाती हैं कि हम अपने लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं।
रिश्तों और नातों की जटिलताओं को उनकी कविताएँ एक संवेदनशील दृष्टिकोण से प्रस्तुत करती हैं। परिवार, दोस्ती, और समाज के विभिन्न रिश्तों की गहराइयों को वह अपने शब्दों के माध्यम से बड़ी मासूमियत और समझदारी से व्यक्त करते हैं। योगेन्द्र नाथ योगी जी की भाषा और शैली में एक खास खूबसूरती है। उनकी शब्दावली और कविताई की तकनीक उन्हें अन्य कवियों से अलग करती है, और उनकी कविताएँ एक नयी सोच और प्रभावशाली चित्रण प्रस्तुत करती हैं।उनके कवि रूप में सृजनात्मकता की चमक और प्रेरणा की गहराई स्पष्ट होती है। उनके लेखन में एक मौलिकता है, जो उनके अद्वितीय दृष्टिकोण और विचारों को दर्शाती है। इन सुन्दर रचनाओं का यह संग्रह “अमृत मंत्रा” तथा अन्य संस्करणों में “काव्य योगी” “पुष्प सरोवर”, ”प्रेम धरोहर” , तथा “पुरानी कलम” है।
इन पहलुओं के माध्यम से, योगेन्द्र नाथ योगी जी की कविताएँ जीवन के विविध पहलुओं को संवेदनशीलता और गहराई से दर्शाती हैं, और उनके लेखन का प्रभाव पाठकों के दिलों में लंबे समय तक बना रहता है। 

राजू सांडेल

संयोजक परासिया छिंदवाड़ा एम.पी.

मेरे परम मित्र श्री योगेंद्र नाथ जी को मैं प्यार से “योगी” कहता हूं हमने साथ में पढ़ाई की है वर्तमान में इनका कार्य क्षेत्र वकालत है। एवं समय मिलने पर कविताएं लिखते हैं। इन्होंने अभी तक पांच किताबें लिखी है एवं इन कविताओं को सोशल मीडिया में भी पुरस्कृत किया गया है।

जितने अच्छे आप वकील एवं कवि हैं उससे कहीं ज्यादा आप मृदुभाषी,मिलनसार एक अच्छे इंसान हैं। “काव्य योगी” काव्य संग्रह में इन्होंने “अंगदान महादान” कविता लिखी है केवल समाज को उस कविता के माध्यम से अंगदान के लिए प्रेरित किया बल्कि इन्होंने अपने संपूर्ण शरीर को मरणोपरांत दान कर चुके हैं जो समाज को और भी प्रेरित करता है।

आपकी कविताओं के बारे में कहूं तो कविताओं में देश प्रेम, प्रेम,त्याग,समर्पण झलकता है। आपकी कविताओं में से कुछ कविताएं हैं जो मुझे प्रेरित करती है जैसे – निरंतर प्रयास,गुम हो जाता हूं,आदि आपके द्वारा लिखे तीन काव्य संग्रहों में जो “काव्य योगी”, “पुष्प सरोवर”, “प्रेम धरोहर” को सुधि पाठकों द्वारा बहुत सराही गई है। और आशा करता हूं कि आने वाली काव्य संग्रहों में “अमृत मंत्रा” एवं “पुरानी कलम” को भी सुधि पाठकों द्वारा सराही जाएगी।

जब आप कविता लिखते हैं तब आप किसी और विचारों की दुनिया में खो जाते हैं जैसे – “कहावत है कि- “जहां न पहुंचे रवि वहां पहुंचे कवि”। फिर उन शब्दों को पिरोकर कविता लिखना उससे उसे पढ़ने वाले को प्ररेणा मिलती ही हैं लेकिन उससे प्रेरणा लेकर खुद आपने अपने जीवन में चरित्रार्थ किया है। इस बात कि मुझे बेहद खुशी है और मैं अपने आपको सौभाग्यशाली मानता हूं कि आप मेरे मित्र हैं आशा करता हूं कि आप इसी तरह सुधि पाठकों के लिए कविताएं लिखते रहेंगे आपकी आने वाली किताबों में कहानियों के संस्करण के अंतर्गत प्रथम संस्करण -“डगर” एवं द्वितीय संस्करण में “अनमोल डगर” सुधि पाठको के समक्ष आने वाली है उसकी अग्रिम हार्दिक शुभकामनाओं के साथ आपका मित्र…

डाँ. अमरजीत ठाकुर " अमर "

डाँक्टर एवं कवि समस्तीपुर ( बिहार )

अमृत मंत्रा – योगेन्द्र नाथ “योगी ” जी द्वारा रचित रचना एक बहुत ही अद्भुत रचना है, जो अमृत की तरह साफ और निर्मल है, यह वो पुस्तक है, जो भिन्न भिन्न शब्दो को जोड़कर एक ” अमृत मंत्रा ” का निमार्ण किया गया है ।

“ काव्य योगी ” के योगी का पाठक जहां प्रकृति के सामीप्य को प्राप्त करता है वहीं प्रेम का प्रवाह और तीव्रता के साथ किन्तु उतनी ही कोमलता लिए हमें प्रेम भाव से ओतप्रोत करने को आतुर हुआ जाता है प्रेम का भाव हम सबमें समान रूप से प्रवाहित है किंतु इस चराचर जगत में रहते हुए भी प्रेम प्रवाह में स्वयं भीगते हुए अनंत प्रेम भाव को रचनाओं के माध्यम से प्रसारित करने का कार्य विरले ही करते हैं।
दैनिक जीवन एवं जीवन जीने के पथ कि समस्त बाधाओं आसानियों , सीधे घुमावदार रास्तों , संकीर्ण गलियों को अपनी रचनाओं में इस खूबसूरती से बयां करना के पढ़ने सुनने वाले स्वयं में प्रवाहित प्रेम के प्रवाह कि अनुभूति कर ले । निःसंदेह धरोहरें मूल्यवान होती है जिनका संरक्षण संवर्धन करना जरूरी होता है लेकिन मानव शारीरिक परिश्रम को आसान करने कि जिद्द में उन्नत वैज्ञानिक आविष्कार तो कर रहा है लेकिन हम ज्यों ज्यों आधुनिक हुए जा रहें उतने ही हम हमारे मानवीय मूल्यों से दूर बहुत दूर होते जा रहे हैं।
इस तरह अनुभव , अनुभूतियों , हृदय के भाव से दूर जाता देख योगेन्द्र नाथ “ योगी ” कि रचनाएं हमें आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेम कि धरोहर को बचाने के लिए प्रेरित करती जिससे हम आने वाली पीढ़ियों को मजबूत सामाजिक परिवेश, शुद्ध प्राकृतिक वातावरण एवं प्राकृतिक सम्पदा, विशाल जंगल और वन्यजीव के प्रति भी आपसी प्रेम का भाव दे सके और प्रेम के वास्तविक स्वरूप से परिचय करने के लिए मानव पीढियां को कहीं भटकना ना पड़े ।
वर्तमान दौर में प्रेम भाव कि नितांत आवश्यकता प्रतीत होती है और अच्छे साहित्य ने हमेशा मानव सभ्यता का मार्गदर्शन किया है आज के दौर में प्रेम कि धरोहर को आने वाली पीढ़ियों तक पहुंचाने का दायित्व हम सभी का है और प्रेम धरोहर में संकलित रचनाएं निःसंदेह आने वाली पीढ़ियों का पथप्रदर्शन करेगी। मैं “प्रेम धरोहर” के निर्बाध प्रवाह कि मंगल कामनाएं करने के साथ ही प्रिय मित्र योगेन्द्र नाथ “ योगी ” कि साहित्य सेवा और सकारात्मक संदेश को प्रसारित करने का उद्देश्य हमेशा सफलता प्राप्त करें एवं काव्य शिल्पी के रुप में आपकी रचनाएं सदैव पाठकों का मार्गदर्शन करती रहे । ढ़ेरों शुभ व मंगल कामनाओं के साथ “प्रेम धरोहर” काव्य पुस्तक के लिए बधाई।
आपका

अशोक बरगुजर

शिक्षक व लेखक चांदामेटा छिंदवाड़ा मध्य प्रदेश

वैसे तो “पुष्प सरोवर” का शाब्दिक अर्थ है पुष्पों की झील अर्थात ऐसा बागवान जो झील के समान हो,जिसमें विभिन्न प्रकार के अनगिनत पुष्प हो , जिसे देखते ही विचलित मन स्थिर हो जाए और चिंता युक्त मन चिंता मुक्त हो जाए।

योगेन्द्र नाथ “योगी”जी के पिछले संग्रह “काव्य योगी” की आपार सफलता की तरह इस संग्रह में भी आप उन सभी विशेषताओं का अनुभव करेंगे जैसा की मैंने “पुष्प सरोवर” के शाब्दिक अर्थ को स्पष्ट करते हुए अपने भाव प्रगट किया था अर्थात सुन्दर मनमोहक पुष्पों के समान शब्दों , विचारों , भावनाओं से सुसज्जित काव्य का सरोवर।
योगेन्द्र नाथ “योगी” जी ने “पुष्प सरोवर” काव्य संग्रह मंं प्रत्येक रस से युक्त कविताओं को सुसज्जित किया है जैसे चाहे वह प्रकृति हो , प्रेम हो , करूणा हो , प्रेरणा , देशभक्ति , रिश्तों से संबंधित या फिर सामाजिक हो।
योगेन्द्र नाथ “योगी” जी हमेशा से समाज तथा युवाओं को जागरूक करने तथा एक अच्छी दिशा देने के लिए क्रियात्मक तथा लेखन कार्य करते रहे हैं। “पुष्प सरोवर” काव्य संग्रह में इन्होने अपने विशेष प्रकार के विचारों तथा विषययुक्त भावनाओं का संग्रहित किया है। मुझे आशा है कि पाठक इन कविताओं को पढ़कर अच्छी अनुभूति करेंगे।इसी उम्मीद के साथ मैं उन्हे बहुत बहुत शुभकामनाएं व ढेरों बधाईयां देता हूं ।
धन्यवाद

संपर्क